भारत सरकार ने बहीखाता, लेखांकन, कराधान और वित्तीय अपराध अनुपालन जैसी सेवाओं को शामिल करके अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्र (आईएफएससी) में अनुमत गतिविधियों की सीमा का विस्तार किया है। वित्त मंत्रालय द्वारा जारी एक गजट अधिसूचना में बताया गया है कि ये वित्तीय सेवाएं अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्र प्राधिकरण (आईएफएससीए) द्वारा विनियमित आईएफएससी में इकाइयों द्वारा गैर-निवासियों को पेश की जा सकती हैं। अधिसूचना इस बात पर जोर देती है कि इन इकाइयों को भारत में अपने समूह संस्थाओं से मौजूदा अनुबंधों या कार्य व्यवस्थाओं को स्थानांतरित या प्राप्त करके सेवाएं प्रदान नहीं करनी चाहिए।