सोलहवें वित्त आयोग के अध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया का अनुमान है कि अगर भारत अपनी विकास गति को बनाए रखता है तो 2027-28 तक वैश्विक अर्थव्यवस्था रैंकिंग में तीसरा स्थान प्राप्त कर सकता है। वैश्विक वित्तीय संकट और महामारी जैसी चुनौतियों का सामना करने के बावजूद, भारत की अर्थव्यवस्था पिछले दो दशकों में डॉलर के संदर्भ में लगभग 8% की दर से लगातार बढ़ी है। पनगढ़िया ने कम उत्पादकता वाले कृषि से श्रम को उच्च उत्पादकता वाले क्षेत्रों में स्थानांतरित करने की आवश्यकता पर जोर दिया। कृषि में 45% कार्यबल जीडीपी में केवल 15% का योगदान देता है, इसलिए उत्पादक ग्रामीण रोजगार का सृजन भारत के भविष्य के विकास के लिए एक महत्वपूर्ण चुनौती के रूप में उभरता है।